आज फिर एक बार भटक जाने दे यार, मुसाफिर हूँ, भटकना आदत में शुमार, लो आज फिर मै निकल पड़ा हूं अपनी यायवरी को आगे बढ़ाने एक अनजान से सफर पर जिसका रास्ता न मुझे पता है न मेरे साथ चल रह...
हमारे प्यारे मित्र झम्मन लाल की प्यारी कार वहीं की वहीं रात 9:30pm पर खड़ी हो गई थी। अब तो मेरा टायफायड कन्फर्म हो चुका था। मजनू भाई 7दिन के लिए शहर से बाहर निकल चुके थे। मणि बाबा फो...